आयी होली, आई होली। रंग-बिरंगी आई होली। मुन्नी आओ, चुन्नी आओ, रंग भरी पिचकारी लाओ, मिल-जुल कर खेलेंगे होली। रंग-बिरंगी आई होली।। मठरी खाओ, गुँजिया खाओ, पीला-लाल गुलाल उड़ाओ, मस्ती लेकर आई होली। रंग-बिरंगी आई होली।। रंगों की बौछार कहीं है, ठण्डे जल की धार कहीं है, भीग रही टोली की टोली। रंग-बिरंगी आई होली।। परसों विद्यालय जाना है, होम-वर्क भी जँचवाना है, मेहनत से पढ़ना हमजोली। रंग-बिरंगी आई होली।। |
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Sunday, March 4, 2012
"रंग-बिरंगी आई होली" (डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक')
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pyaari pyaari holi ki baal kavita jo shiksha bhi de rahi hai.
ReplyDeletewaah bahut acchi post...
ReplyDeleteSundar.
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